लार्ड कार्नवालिस
His Excellency
General The Most Honourable The Marquess Cornwallis KG PC | |
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Governor-General of the Presidency of Fort William | |
कार्यकाल 30 July 1805 – 5 October 1805 | |
नरेश | George III |
प्रधानमंत्री | William Pitt the Younger |
इनसे पहिले | The Marquess Wellesley |
इनके बाद | Sir George Barlow, Bt As Acting Governor-General |
कार्यकाल 12 September 1786 – 28 October 1793 | |
नरेश | George III |
प्रधानमंत्री | William Pitt the Younger |
इनसे पहिले | Sir John Macpherson, Bt As Acting Governor-General |
इनके बाद | Sir John Shore |
Lord Lieutenant of Ireland | |
कार्यकाल 14 June 1798 – 27 April 1801 | |
नरेश | George III |
प्रधानमंत्री | William Pitt the Younger |
इनसे पहिले | The Earl Camden |
इनके बाद | The Earl Hardwicke |
निजी जानकारी | |
जनम | Charles Edward Cornwallis V 31 दिसंबर 1738 Grosvenor Square, Mayfair, London, England, Great Britain (present-day United Kingdom) |
निधन | 5 अक्टूबर 1805 Gauspur, Kingdom of Kashi-Benares (present-day Ghazipur, Uttar Pradesh, India) | (उमिर 66)
राष्ट्रीयता | British |
जीवनसाथी | Jemima Tullekin Jones |
संतान | Mary, Charles |
महतारी संस्था | Eton College Clare College, Cambridge |
अकुपेशन | Military officer, official |
सम्मान | Knight Companion of The Most Noble Order of the Garter |
दस्खत | |
Military service | |
Allegiance | ग्रेट ब्रिटेन (1757–1801) United Kingdom (1801–1805) |
Service/branch | British Army British East India Company |
Years of service | 1757–1805 |
Rank | General |
Commands | India Ireland South-East England |
Battles/wars | Seven Years' War American War of Independence Third Mysore War Irish Rebellion of 1798 Anti-invasion preparations |
चार्ल्स कार्नवालिस, फस्ट मार्केश कार्नवालिस (Charles Cornwallis, 1st Marquess Cornwallis; 31 दिसंबर 1738 – 5 अक्टूबर1805), जिनके लॉर्ड कॉर्नवालिस (Lord Cornwallis) के नाँव से ढेर जानल जाला, ब्रिटिश आर्मी के एगो जनरल आ ब्रिटिश अफसर रहलें। इनका के अमेरिका आ ब्रिटेन में परसिद्धि अमेरिका के आजादी के लड़ाई में ब्रिटिश जनरल के रूप में बा; एकरे बाद ई आयरलैंड आ भारत में सिविल आ मलेटरी अफसर के रूप में काम कइलें। दुनों जगह इनके काम के ब्यापक बदलाव वाला मानल जाला; आयरलैंड में एक्ट ऑफ यूनियन ले अइलें जबकि भारत में कार्नवालिस कोड आ इस्तमरारी बंदोबस्त (परमानेंट सेटलमेंट) खाती इनके परसिद्धि हवे। इनके निधन भारत के उत्तर प्रदेश राज्य के गाजीपुर शहर में भइल; अहिजा इनके सम्मान में एगो इस्मारक बनावल गइल बा।